नारनौंद कबड्डी टीम ने मोर माजरा करनाल में हासिल किया द्वितीय स्थान | कोच डी.पी. बादला के नेतृत्व में शानदार प्रदर्शन

  


नारनौंद कबड्डी टीम ने मोर माजरा करनाल में हासिल किया द्वितीय स्थान | कोच डी.पी. बादला के नेतृत्व में शानदार प्रदर्शन

करनाल (हरियाणा), 7 अप्रैल 2025:
हरियाणा के करनाल जिले के मोर माजरा गांव में आयोजित प्रतिष्ठित राज्य स्तरीय कबड्डी टूर्नामेंट में टीम नारनौंद ने दमदार प्रदर्शन करते हुए द्वितीय स्थान प्राप्त किया। इस टूर्नामेंट में हरियाणा के विभिन्न जिलों की बेहतरीन कबड्डी टीमों ने भाग लिया, लेकिन नारनौंद की टीम ने अपने अनुशासित खेल और रणनीतिक सूझबूझ से दर्शकों का दिल जीत लिया।



इस शानदार प्रदर्शन के पीछे मुख्य भूमिका निभाई कोच डी.पी. बादला ने, जिन्होंने टीम को तकनीकी रूप से सशक्त बनाया और खिलाड़ियों में जीत की भावना को जीवित रखा। टूर्नामेंट में नारनौंद की टीम ने शुरुआती मुकाबलों से ही अपने विरोधियों को कड़ी टक्कर दी और फाइनल तक का सफर तय किया। हालांकि अंतिम मुकाबले में टीम को मामूली अंतर से हार का सामना करना पड़ा, लेकिन टीम की संघर्षशीलता और प्रदर्शन की जमकर सराहना हुई।

टूर्नामेंट का आयोजन और प्रतिस्पर्धा का स्तर
मोर माजरा गांव में आयोजित यह टूर्नामेंट हर साल राज्य स्तरीय कबड्डी खिलाड़ियों के लिए एक बड़ा मंच बन चुका है। इस बार प्रतियोगिता में कुल 16 टीमों ने भाग लिया, जिनमें से अधिकांश टीमों में राज्य और राष्ट्रीय स्तर के खिलाड़ी शामिल थे। टूर्नामेंट का आयोजन ग्रामीण युवा विकास समिति द्वारा किया गया था, जिसका उद्देश्य हरियाणवी युवाओं को खेलों की ओर प्रोत्साहित करना और ग्रामीण स्तर पर खेल संस्कृति को बढ़ावा देना है।

नारनौंद टीम की प्रदर्शन झलकियां
नारनौंद की टीम ने अपने पहले मैच में जींद की टीम को हराकर टूर्नामेंट में जोरदार शुरुआत की। इसके बाद टीम ने पानीपत और यमुनानगर की टीमों को भी हराया। हर मैच में खिलाड़ियों ने गजब की फुर्ती, ताकत और रणनीतिक खेल दिखाया। रेडर और डिफेंडर्स के बीच समन्वय काबिल-ए-तारीफ रहा।

टीम के रेडर संदीप पहलवान ने कई बार एक साथ दो-तीन खिलाड़ियों को छकाकर पॉइंट्स बटोरे, वहीं डिफेंडर अमित और नवीन की जोड़ी ने विरोधी टीमों की रेड्स को कई बार नाकाम किया।

कोच डी.पी. बादला की भूमिका
टीम के कोच डी.पी. बादला (मो. नं. 7700050070) का खेल जगत में नाम किसी परिचय का मोहताज नहीं है। वर्षों के अनुभव और समर्पण के साथ वे खिलाड़ियों को शारीरिक प्रशिक्षण के साथ-साथ मानसिक रूप से भी तैयार करते हैं। उन्होंने बताया कि खिलाड़ियों ने पिछले कई महीनों से इस टूर्नामेंट के लिए कठिन अभ्यास किया था और उनका यह प्रयास रंग लाया।

कोच बादला ने कहा, "हमारी टीम का उद्देश्य केवल जीत नहीं है, बल्कि खेल की आत्मा को जीवित रखना और युवा खिलाड़ियों को आत्मविश्वास देना भी है।"

टीम भावना और अनुशासन की मिसाल
नारनौंद की टीम में सभी खिलाड़ी न केवल खेल में निपुण हैं, बल्कि अनुशासन और टीम भावना के मामले में भी अनुकरणीय हैं। प्रत्येक खिलाड़ी ने एक-दूसरे का मनोबल बढ़ाया और हर चुनौती का डटकर सामना किया। टूर्नामेंट के दौरान टीम के खिलाड़ियों ने किसी भी तरह की अनुशासनहीनता नहीं दिखाई, जिससे आयोजकों और दर्शकों में उनकी विशेष छवि बनी।

दर्शकों का समर्थन और ग्रामीण खेलों का भविष्य
टूर्नामेंट के दौरान बड़ी संख्या में दर्शक मैदान पर पहुंचे, जिनमें स्थानीय ग्रामीणों के साथ-साथ विभिन्न जिलों से आए कबड्डी प्रेमी भी शामिल थे। नारनौंद टीम के लिए दर्शकों का उत्साहपूर्ण समर्थन देखने को मिला।

इस तरह के टूर्नामेंट ग्रामीण युवाओं को सकारात्मक दिशा देने का कार्य करते हैं और कबड्डी जैसे पारंपरिक खेल को नई ऊर्जा प्रदान करते हैं। सरकार और खेल संस्थाओं से अपेक्षा है कि वे ऐसे आयोजनों को और अधिक प्रोत्साहित करें।

भविष्य की योजनाएं
टीम नारनौंद अब आगामी जिला स्तरीय और राज्य स्तरीय टूर्नामेंट्स की तैयारी में जुट गई है। कोच बादला के अनुसार, टीम को अगले महीने रोहतक में होने वाले ‘हरियाणा चैंपियंस कप’ में भाग लेना है, जिसकी तैयारी पहले से ही शुरू हो चुकी है। उनका लक्ष्य है कि टीम अगले स्तर तक पहुंचे और राष्ट्रीय स्तर पर भी अपनी पहचान बनाए।


निष्कर्ष
मोर माजरा करनाल में नारनौंद टीम का प्रदर्शन एक उदाहरण है कि ग्रामीण भारत में कितनी खेल प्रतिभाएं छुपी हुई हैं। सही मार्गदर्शन, प्रशिक्षण और मंच मिलते ही ये खिलाड़ी राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अपनी पहचान बना सकते हैं। कोच डी.पी. बादला और उनकी टीम ने यह दिखा दिया है कि प्रतिबद्धता और मेहनत से किसी भी लक्ष्य को प्राप्त किया जा सकता है।


 

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